2011 में पड़ने वाला ये महाकुम्भ गंगा के किनारे नहीं बल्कि 22 यार्ड कि पिच पर होने वाला है जिसका इन्तेजार पूरी दुनिया कर रही है खास तौर से हिंदुस्तान और उसके महाद्वीप ये महाकुम्भ इस बार हिन्दुस्तान में पड़ रहा है जिसमे दुनिया की बहेतरीन टीमे भाग ले रही है सभी कि जुबान पर एक ही सवाल है कि क्या हिन्दुस्तान इस महाकुम्भ को जीत पायेगा क्या 1983 का इतिहास फिर से दोहराया जायेगा इसके लिए अभी कुछ इन्तेजार करना होगा ये महाकुम्भ 19 फेबररी से शुरू हो रहा है इस महाकुम्भ में कई नई टीमे भी होंगी जैसे कनाडा,आयरलैंड,केन्या,नीदरलैंड हिन्दुस्तानी महाद्वीप के लोग इस महाकुम्भ से काफी खुस है और हिन्दुस्तान को जीतते हुआ देखना चाहते है इस मह्कुम्भ में सबकी नजर मास्टर ब्लास्टर सचिन पर होंगी शायद ये उनका आखरी वर्डकप हो और वो भी अपना वर्ल्डकप जीतने का सपना जरूर पूरा करना चाहते होंगे
जब पहली बार 1975 में वर्ल्डकप हुआ तब सिर्फ दुनिया की कुछ चुनिन्दा टीमे ही थी इस वर्ल्डकप में वेस्ट-इंडीज और ऑस्ट्रेलिया के बीच फ़ाइनल हुआ जिसमे वेस्ट-इंडीज ने बाजी मार ली और ऑस्ट्रेलिया को हरा दिया
इसके बाद फिर 1979 में वर्ल्डकप हुआ और फिर वेस्ट-इंडीज और ऑस्ट्रेलिया फ़ाइनल में पहुचे लकिन इस बार फिर ऑस्ट्रेलिया को मुह की खानी पड़ी और वेस्ट-इंडीज फिर से जीत गया
ये समय वेस्ट-इंडीज की बादसाहत का था सन 1975 से 1983 तक इस टीम ने क्रिकेट जगत में तहलका मचा दिया
तभी 1983 का वर्ल्डकप आया और दो बार से पहले राऊंड से बाहर होने वाली हिन्दुस्तानी टीम फ़ाइनल में पहुच गई और वेस्ट-इंडीज और हिन्दुस्तान का फ़ाइनल हुआ हिन्दुस्तान ने केवल 183 रन बनाये लकिन वेस्ट-इंडीज को 140 रन पर आल आउट कर दिया और दुनिया में वेस्ट-इंडीज की बादसाहत को खत्म कर दिया
लेकिन इसके बाद कभी भी हिन्दुस्तान वर्ल्ड कप नहीं जीत सकी है 1987 में ऑस्ट्रेलिया,1992 में पकिस्तान,1996 में श्रीलंका,1999 में ऑस्ट्रेलिया,2003 में ऑस्ट्रेलिया,2007 में फिर से ऑस्ट्रेलिया ने वर्ल्डकप जीता हलाकि इस बीच 2003 में हिन्दुस्तान फ़ाइनल में पहुच गया लेकिन उसे ऑस्ट्रेलिया ने हरा दिया करीब एक दसक तक ऑस्ट्रेलिया ने क्रिकेट जगत पर राज किया है और क्रिकेट पंडित कहते है की इस बादसाहत को सिर्फ हिन्दुस्तान ही ख़त्म कर सकता है करीब 4 साल में ऑस्ट्रेलिया काफी कमजोर हो गया है उसके ज्यादातर बड़े प्लेयर रिटायर हो गए है और इस वर्ल्ड कप में सभी हिंदुस्तान पर दांव लगा रहे है इसकी सबसे बड़ी वजह सचिन है जो इस समय जिस फॉर्म में है वो शायद उनके कैरीअर का गोल्डेन टाइम है उसके साथ धोनी की किस्मत और युवा चेहरो का जोश इस टीम को बाकि टीमो से अलग करता है अब सभी को उस पल का इन्तेजार है जब वर्ल्ड कप शुरू होगा
जब पहली बार 1975 में वर्ल्डकप हुआ तब सिर्फ दुनिया की कुछ चुनिन्दा टीमे ही थी इस वर्ल्डकप में वेस्ट-इंडीज और ऑस्ट्रेलिया के बीच फ़ाइनल हुआ जिसमे वेस्ट-इंडीज ने बाजी मार ली और ऑस्ट्रेलिया को हरा दिया
इसके बाद फिर 1979 में वर्ल्डकप हुआ और फिर वेस्ट-इंडीज और ऑस्ट्रेलिया फ़ाइनल में पहुचे लकिन इस बार फिर ऑस्ट्रेलिया को मुह की खानी पड़ी और वेस्ट-इंडीज फिर से जीत गया
ये समय वेस्ट-इंडीज की बादसाहत का था सन 1975 से 1983 तक इस टीम ने क्रिकेट जगत में तहलका मचा दिया
तभी 1983 का वर्ल्डकप आया और दो बार से पहले राऊंड से बाहर होने वाली हिन्दुस्तानी टीम फ़ाइनल में पहुच गई और वेस्ट-इंडीज और हिन्दुस्तान का फ़ाइनल हुआ हिन्दुस्तान ने केवल 183 रन बनाये लकिन वेस्ट-इंडीज को 140 रन पर आल आउट कर दिया और दुनिया में वेस्ट-इंडीज की बादसाहत को खत्म कर दिया
लेकिन इसके बाद कभी भी हिन्दुस्तान वर्ल्ड कप नहीं जीत सकी है 1987 में ऑस्ट्रेलिया,1992 में पकिस्तान,1996 में श्रीलंका,1999 में ऑस्ट्रेलिया,2003 में ऑस्ट्रेलिया,2007 में फिर से ऑस्ट्रेलिया ने वर्ल्डकप जीता हलाकि इस बीच 2003 में हिन्दुस्तान फ़ाइनल में पहुच गया लेकिन उसे ऑस्ट्रेलिया ने हरा दिया करीब एक दसक तक ऑस्ट्रेलिया ने क्रिकेट जगत पर राज किया है और क्रिकेट पंडित कहते है की इस बादसाहत को सिर्फ हिन्दुस्तान ही ख़त्म कर सकता है करीब 4 साल में ऑस्ट्रेलिया काफी कमजोर हो गया है उसके ज्यादातर बड़े प्लेयर रिटायर हो गए है और इस वर्ल्ड कप में सभी हिंदुस्तान पर दांव लगा रहे है इसकी सबसे बड़ी वजह सचिन है जो इस समय जिस फॉर्म में है वो शायद उनके कैरीअर का गोल्डेन टाइम है उसके साथ धोनी की किस्मत और युवा चेहरो का जोश इस टीम को बाकि टीमो से अलग करता है अब सभी को उस पल का इन्तेजार है जब वर्ल्ड कप शुरू होगा
ACHA HA GURU
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